DRS लेने में चूक गए धोनी, चेन्नई सुपर किंग्स को हुआ बड़ा नुकसान, गुस्साए फैंस ने सोशल मीडिया पर निकाली भड़ास
आईपीएल 2025 के एक बेहद रोमांचक मुकाबले में चेन्नई सुपर किंग्स (CSK) को करीबी हार का सामना करना पड़ा, लेकिन मैच के बाद चर्चा का केंद्र बनी रही एक बड़ी चूक—महेंद्र सिंह धोनी द्वारा DRS न लेना। मैच के निर्णायक क्षणों में धोनी ने जब DRS नहीं लिया, तब बल्लेबाज साफ तौर पर एलबीडब्ल्यू लग रहे थे। यही वो पल था जब खेल का रुख पलट गया, और अंत में चेन्नई को हार का सामना करना पड़ा। सोशल मीडिया पर फैंस ने इस फैसले पर नाराज़गी जताई और जमकर धोनी की आलोचना की।

मैच का संक्षिप्त विवरण
मैच चेन्नई सुपर किंग्स और लखनऊ सुपर जायंट्स (LSG) के बीच खेला गया। CSK ने पहले बल्लेबाज़ी करते हुए 165 रनों का लक्ष्य खड़ा किया। यह एक औसत स्कोर था लेकिन चेपॉक की धीमी पिच पर यह प्रतिस्पर्धात्मक माना जा रहा था। जवाब में LSG की शुरुआत लड़खड़ाती दिखी, लेकिन निकोलस पूरन और आयुष बडोनी की सूझबूझ भरी साझेदारी ने उन्हें जीत के करीब पहुंचा दिया।
वो निर्णायक पल
मैच का सबसे अहम मोड़ 17वें ओवर में आया, जब आयुष बडोनी को मथीशा पथिराना की गेंद पर एलबीडब्ल्यू आउट दिया जाना चाहिए था। गेंद सीधा पैड पर लगी और ऐसा लगा कि वह विकेट पर जा रही है। फील्डिंग टीम ने अपील की, लेकिन अंपायर ने नॉट आउट दिया। धोनी, जो आमतौर पर DRS लेने में माहिर माने जाते हैं, ने रिव्यू नहीं लिया।
बाद में जब रीप्ले में दिखाया गया कि गेंद पूरी तरह से विकेटों को हिट कर रही थी, तब फैंस के बीच गुस्सा फूट पड़ा। यदि वह DRS लिया गया होता, तो बडोनी आउट हो जाते और CSK की जीत की संभावना बढ़ जाती।
सोशल मीडिया पर फैंस का ग़ुस्सा
मैच के तुरंत बाद ट्विटर, इंस्टाग्राम और फेसबुक पर #DhoniDRS ट्रेंड करने लगा। फैंस ने धोनी को ‘DRS किंग’ कहे जाने पर सवाल खड़े किए। कई यूज़र्स ने लिखा कि यह वही धोनी हैं जो कभी एक सेकंड में DRS लेते थे, लेकिन इस बार क्यों चूक गए?
एक यूज़र ने ट्वीट किया,
“धोनी ने आज DRS नहीं लिया, और मैच वहीं हार गए। काश थाला अपनी पुरानी धार दिखाते।”
वहीं, दूसरे फैन ने लिखा,
“DRS तो धोनी की पहचान थी, लेकिन लगता है उम्र का असर अब फैसलों पर दिखने लगा है।”
धोनी के फैसलों पर उठे सवाल
धोनी हमेशा से ही शांत दिमाग और सही फैसलों के लिए जाने जाते हैं। उन्हें “कैप्टन कूल” और “DRS किंग” कहा जाता है। लेकिन हाल के सीज़न में उनके कुछ निर्णय सवालों के घेरे में आए हैं। चाहे गेंदबाज़ों की टाइमिंग हो, फील्डिंग सेटअप या DRS—कुछ फैसले टीम की हार की वजह बने हैं।

क्या उम्र डाल रही है असर?
धोनी अब 43 वर्ष के हो चले हैं और क्रिकेट के लिहाज से यह उम्र अंतिम पड़ाव मानी जाती है। हालांकि उनकी फिटनेस अभी भी गज़ब की है, लेकिन क्या उनके रिफ्लेक्स और निर्णय लेने की क्षमता पर इसका असर दिखने लगा है? विशेषज्ञों का मानना है कि यह एक ‘मानव’ चूक थी और ऐसा किसी के साथ भी हो सकता है।
पूर्व क्रिकेटर आकाश चोपड़ा ने अपने यूट्यूब चैनल पर कहा,
“धोनी महान हैं, लेकिन DRS में गलती किसी से भी हो सकती है। हम उन्हें DRS किंग कहते हैं, लेकिन एक इंसान हमेशा परफेक्ट नहीं हो सकता।”
टीम पर असर
इस हार का असर CSK की पॉइंट्स टेबल पर भी पड़ा है। टीम अब प्लेऑफ की दौड़ में पिछड़ती नजर आ रही है। अगर यही सिलसिला जारी रहा, तो टीम को आगे के मैचों में और अधिक रणनीतिक सटीकता दिखानी होगी।
धोनी की प्रतिक्रिया
हालांकि मैच के बाद धोनी ने इस मुद्दे पर कोई सीधा बयान नहीं दिया, लेकिन चेन्नई सुपर किंग्स के कोच स्टीफन फ्लेमिंग ने प्रेस कॉन्फ्रेंस में कहा,
“DRS ना लेना दुर्भाग्यपूर्ण था। धोनी ने महसूस किया कि गेंद स्टंप्स को नहीं हिट कर रही थी, इसलिए उन्होंने रिव्यू नहीं लिया।”

निष्कर्ष
धोनी द्वारा DRS न लेना निश्चित रूप से एक बड़ी चूक थी, जिसने मैच का रुख बदल दिया। फैंस का गुस्सा स्वाभाविक है क्योंकि वह हमेशा धोनी से असाधारण उम्मीदें रखते हैं। लेकिन यह भी याद रखना चाहिए कि मैदान पर फैसले सेकंडों में लेने होते हैं और गलती किसी से भी हो सकती है।
चेन्नई को अब आगामी मैचों में इस हार से सबक लेते हुए वापसी करनी होगी और धोनी को फिर से वही ‘थाला’ बनना होगा, जिस पर फैंस आंख मूंदकर भरोसा करते हैं।
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